वृत्रहन् शब्द के रूप – Vratrahan Ke Roop, Shabd Roop – Sanskrit

Vratrahan Shabd

वृत्रहन् शब्द (Indra, इन्द्रः): हन् भागान्त पुंल्लिंग शब्द , इस प्रकार के सभी हन् भागान्त पुल्लिंग शब्दों के शब्द रूप (Shabd Roop) इसी प्रकार बनाते है। जैसे – पथिन्, गुणिन्, व्रत्रहन्, स्थायिन्, मघवन्, लघिमन्, युवन्, स्वामिन्, आत्मघातिन्, अर्थिन्, एकाकिन्, कञ्चुकिन्, ज्ञानिन्, करिन्, कुटुम्बिन्, कुशलिन्, चक्रवर्तिन्, तपस्विन्, दूरदर्शिन्, द्वेषिन्, धनिन्, पक्षिन्, बलिन्, मन्त्रिन्, मनोहारिन्, मनीषिन्, मेधाविन्, रोगिन्, वैरिन् आदि। संस्कृत व्याकरण एवं भाषा में शब्द रूप अति महत्व रखते हैं। और धातु रूप (Dhatu Roop) भी बहुत ही आवश्यक होते हैं।

वृत्रहन् के शब्द रूप इस प्रकार हैं-

वृत्रहन् के शब्द रूप – Vratrahan Shabd Roop

विभक्तिएकवचनद्विवचनबहुवचन
प्रथमावृत्रहावृत्रहणौवृत्रहणः
द्वितीयावृत्रहणम्वृत्रहणौवृत्रघ्नः
तृतीयावृत्रघ्नावृत्रहभ्याम्वृत्रहभिः
चतुर्थीवृत्रघ्नेवृत्रहभ्यम्वृत्रहभ्यः
पंचमीवृत्रघ्नःवृत्रहभ्यम्वृत्रहभ्यः
षष्ठीवृत्रघ्नःवृत्रघ्नोःवृत्रघ्नाम्
सप्तमीवृत्रघ्नि/ वृत्रहणिवृत्रघ्नोःवृत्रहसु
सम्बोधनहे वृत्रहन् !हे वृत्रहणौ !हे वृत्रहणः !

अन्य महत्वपूर्ण शब्द रूप

महत्वपूर्ण शब्द रूप की Shabd Roop List देखें और साथ में shabd roop yad karane ki trick भी, सभी शब्द रूप संस्कृत में।

Shabd roop of Vratrahan -Image