Poem on Grandparents in Hindi | दादा और दादी जी पर कविता | Hindi Poems on Grandparents

Grandparents

दादा-दादी हमारे परिवार की नींव होते हैं, जिनका प्यार और आशीर्वाद हमारे जीवन को संवारता है। उनकी कहानियाँ, अनुभव और स्नेह हमें संस्कारों की सीख देते हैं। इस लेख में हम आपके लिए दादा और दादी जी पर सुंदर कविताएँ (Poem on Grandparents in Hindi) लेकर आए हैं, जो उनके प्रति हमारे प्रेम और सम्मान को दर्शाती हैं। यदि आप बच्चों के लिए दादा-दादी पर कविता (Hindi Poems on Grandparents for Kids) या संस्कारों से जुड़ी कविताएँ ढूँढ रहे हैं, तो यह लेख आपके लिए परफेक्ट है। इन कविताओं को पढ़कर आपके मन में अपने दादा-दादी के लिए प्यार और भी बढ़ जाएगा!

बातें नई पुरानी | Poem on Grandparents in Hindi

आओ आज सुनाएँ आपको, हम ये अपनी ज़बानी।
याद दिलाएँ चलो आज हम, बातें नई पुरानी।।
नहीं भूले हैं हम वो किस्से, वो परियों की कहानी।
जिन्हें सुनाते दादा – दादी, कभी नाना, कभी नानी।।
कभी लगते जाने – पहचाने, और कभी अनजाने।
दादा – दादी, नाना – नानी के वो, किस्से नए पुराने।।
दिल को बहुत अच्छा लगता है, हमें आपका संग।
जीवन में भर जाते खुशियों के, इंद्रधनुषी रंग।।
साथ आपका पाकर हम, फूलों से खिल जाते।
ढेरों प्यार – दुलार भरे, आशीष आपसे पाते।।
प्यार हमें कितना है आपसे, कैसे भला बताएँ।
आओ आज ज़रा देखो, हम कैसे इसे जताएँ।।
आप नींव इस हरे पेड़ की, हम हैं प्यारे फूल।
आपको हम और आप हमें, नहीं हैं पाते भूल।।
छत्र – छाया में आपकी मिलता, हमें सुरक्षित स्थान।
बता नहीं सकते शब्दों में, जो हृदय में है सम्मान।।
आपके अनुभव, आपकी बातें, देती हैं जो ज्ञान।
उनसे हमारे जीवन की, होती है डगर आसान।।
सिर पर हाथ रहे यूँ ही आपका, आज, कल, हर बार।
चरणों में करते प्रणाम हम, आप करें स्वीकार।।

~ प्रिया शर्मा  की दादा और दादी जी पर कविता

दादा-दादी, नाना-नानी Short Hindi Poem on Grandparents

दादा-दादी, नाना-नानी,
प्यार भरी एक अमर कहानी।
मीठी बातों की छाँव घनी,
ममता में लिपटी हर एक घड़ी।

आंगन में बैठ सुनाते किस्से,
परी लोक के अनोखे हिस्से।
स्नेह की छत, दुआओं का घर,
हर दुख में बनते हैं ढाल अमर।

गर्म हथेली, स्नेहिल नजर,
मुस्कान में बसता है अमृत-जल।
जीवन में रंग जो भर जाते,
बिन कहे हर दर्द मिटाते।

संग रहे ये, जीवनभर साथ,
ईश्वर से बस इतनी है बात।
दादा-दादी, नाना-नानी,
रहें सदा खुश, हो जिंदगानी!

~ कृतिका यादव की दादा दादी पर छोटी कविता

दादा और दादी जी Poem on Grandparents in Hindi

दोनों गुस्सा करने वाले हैं,
पर प्यार भी बरसाते हैं,
ये हमारी चिता करते हैं,
और हमें सही राह दिखाते
यह रिश्ता बहुत अनमोल है,
इसे अच्छे से निभाना,
जब नहीं रहेगा यह रिश्ता,
तब पड़ेगा पछताना।
इनका प्यार है सबसे अलग,
महसूस करके देखो,
अपना प्यार दिखाने के लिए,
अब न अपने आप को रोको।
आप हमें बचाते हैं,
दूसरों को खूब डांट लगाते हैं,
उतना प्यार पिराते हैं।
आप ही हमारे आज हैं,
आप ही हमारे कल,
आप हमें छोड़कर मत जाना,
आपके बिन लगेगा जीवन निष्फल।
बस इतना ही लिख पाऊंगी,
अब आंखें हो गई हैं नम,
जब तक जीती रहूंगी,
तब तक नहीं होगा,
आपके प्रति मेरा प्यार कम।

~ कृतिका शर्मा की प्रेरणादायक कविता

मां के हाथ का खाना Hindi Poem on Grandparents

जब मां रसोई में खड़ी होती,
खुशबू से घर महकाती रहती।
चूल्हे पर उबलते दूध की मूंज,
सबके दिलों में बसी रहती।

खुशी की सुगंध।
गाजर का हलवा, या दाल का तड़का,
माँ का हर व्यंजन है बिल्कुल अद्भुत।
चपाती में घुला हुआ प्यार,
हर कौर में छिपा सुख का आधार।

बच्चे खुश होकर कहते,
मां, तुमने आज क्या बनाया?
उनको हंसी में है खास मिठास,
मां के हाथ का खाना है सबसे खास।

हर एक बर्तन में है कहानी,
मां की मेहनत और परेशानी।
जब भी भूख लगे, याद आए,
उनके हाथ का बना खाना,
दिल को भाए।

मां के हाथ का बना खाना,
हर बच्चे का है प्यारा सपना।
इसमें है प्यार, इसमें है खुशी,
मां का खाना, सबकी है सच्ची खुशी।

~ प्रान्शी की दादा दादी पर कविता

दादी माँ Hindi Poem on Grandparents

माँ से प्यारी दादी माँ,
घर की मुखिया दादी माँ।

बाहर से झगड़ा कर आते,
तब गोद में छुपाती दादी माँ।

मम्मी जब पीटने आती,
तब बचाती दादी माँ।

अपने हिस्से की चीजें,
हमें खिलाती दादी माँ।

रात को बिस्तर में बिठाकर,
कहानी सुनाती दादी माँ।

औरत-मर्द सब बाहर जाते,
घर में रहती दादी माँ।

मंदिर जैसे भगवान बिना,
घर जैसे बिन दादी माँ।

∼ मीनल दधीच ‘मींटू’

प्यारे दादा-दादी, नाना-नानी Short Hindi Poem on Grandparents for kids

प्यारे दादा, प्यारी दादी,
नाना-नानी सबसे न्यारी।
प्यार लुटाते दिनभर हम पर,
हँसी से भर दें दुनिया सारी।

मीठी-मीठी कहानियाँ सुनाते,
राजा-रानी के किस्से गाते।
गोदी में जब बैठते हम,
दुनिया को भी भूल ही जाते।

गर्म हाथों की नरम चादर,
संग लगे न कोई भी डर।
प्यार से हमको सिखलाते,
सच्चाई के प्यारे रहबर।

दादा-दादी, नाना-नानी,
सबसे प्यारी उनकी बानी।
रहें सदा मुस्कान लुटाते,
दुआ यही देते हम ज्ञानी!

~ प्रान्शी यादव की छोटे बच्चों के लिए दादा दादी पर छोटी कविता

दादी-दादा Short Hindi Poem on Grandparents

एक हमारे दादा जी हैं,
एक हमारी दादी।

दोनों ही पहना करते हैं,
बिलकुल भूरी खादी।

दादी गाया करतीं,
दादा जी मुस्काते।

कभी-कभी दादा जी भी हैं,
कोई गाना गाते।

~ व्रीती बिष्ट की दादा दादी पर छोटी कविता

दादी का गांव ही प्यारा था Poem on Grandparents in Hindi

वो दादी का गांव ही प्यारा था,
जहां हरी भरी धरती
और खुला आसमान,
भगवान से पूजे जाते हैं
जहां मेहमान,
नदियां जहां लहरों से
करती इशारा है,
वो दादी का गांव ही प्यारा है।

दादा थे राष्ट्रपति
पापा प्रधानमंत्री बने,
दादी मुख्यमंत्री
और मां गृहमंत्री बनी,
हम बच्चे सदस्य थे उस संसद के,
वह देश रुपी घर का
छोटा संसद ही न्यारा था,
वो दादी का गांव ही प्यारा था।

मिट्टी का आंगन,
छत पर खपरैल,
छोटे-छोटे पौधे
और बड़े-बड़े पेड़,
पहाड़ों से कुछ दूर पर
वो गांव हमारा था,
वो दादी का गांव है प्यारा था,
वो दादी का गांव ही प्यारा था।

~ कृष्णावती की दादा दादी पर कविता

दादी वाला गाँव Poem on Grandparents in Hindi

पापा याद बहुत आता है
मुझको दादी वाला गाँव,
दिन दिन भर घूमना खेत में
वह भी बिल्कुल नंगे पाँव।

मम्मी थीं बीमार इसी से
पिछले साल नहीं जा पाए,
आमों का मौसम था फिर भी
छककर आम नहीं खा पाए।

वहाँ न कोई रोक टोक है
दिन भर खेलो मौज मनाओ,
चाहे किसी खेत में घुसकर
गन्ने चूसो भुट्टे खाओ।

भरी धूप में भी देता है
बूढ़ा बरगद ठंडी छाँव,
जिस पर बैठी करतीं चिड़ियाँ
चूँचूँ कौए करते काँव।

~ इंदिरा गौड़ की दादी वाला गाँव हिंदी कविता

दादा-दादी हमारे परिवार की वह मजबूत जड़ें हैं, जिनसे हमें प्रेम, संस्कार और जीवन के अनमोल अनुभव मिलते हैं। उनकी कहानियाँ और स्नेह भरे शब्द हमें हमेशा मार्गदर्शन देते हैं। दादा और दादी जी पर लिखी गई ये कविताएँ (Poem on Grandparents in Hindi) न सिर्फ बच्चों के लिए प्रेरणादायक हैं, बल्कि बड़ों को भी अपने बचपन की याद दिलाती हैं। हमें चाहिए कि हम अपने दादा-दादी के साथ अधिक से अधिक समय बिताएँ और उनके आशीर्वाद से अपने जीवन को खुशहाल बनाएँ। 💖

पढ़ें अन्य हिन्दी कविताएं:

FAQs

1.

दादा-दादी पर कविता क्यों लिखी जाती है?

दादा-दादी पर कविता उनके प्रेम, त्याग और मार्गदर्शन को सम्मान देने के लिए लिखी जाती है। ये कविताएँ बच्चों को पारिवारिक मूल्यों और रिश्तों की अहमियत सिखाने में मदद करती हैं।

2.

बच्चों के लिए दादा-दादी पर सरल कविता कैसे लिखें?

बच्चों के लिए कविता सरल, तुकबंदी वाली और भावनात्मक होनी चाहिए। इसमें दादा-दादी के स्नेह, उनकी कहानियों और जीवन के सीखने योग्य पहलुओं को रोचक तरीके से प्रस्तुत किया जाता है।

3.

क्या दादा-दादी पर कविता प्रतियोगिता या स्कूल प्रोजेक्ट के लिए उपयोगी हो सकती है?

हाँ, स्कूल प्रतियोगिताओं, निबंध लेखन, और प्रोजेक्ट्स के लिए दादा-दादी पर कविताएँ बहुत उपयोगी होती हैं। ये बच्चों में परिवार के प्रति प्रेम और संस्कारों की भावना को मजबूत करती हैं।

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