कमला नेहरू – कमला कौल नेहरू का जीवन परिचय

कमला नेहरू (1 अगस्त 1899 – 28 फरवरी 1936) भारतीय स्वतंत्रता संग्राम की एक प्रमुख महिला थीं और भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू की पत्नी थीं।

कमला नेहरू (Kamala Nehru) भारतीय स्वतंत्रता संग्राम की एक प्रमुख महिला थीं। 1916 में 16 वर्ष की उम्र में उनका विवाह पंडित जवाहरलाल नेहरू से हुआ। स्वतंत्रता आंदोलन में उन्होंने असहयोग आंदोलन (1921) में सक्रिय भूमिका निभाई और महिलाओं को आंदोलन से जोड़ा। उन्होंने स्वराज भवन में अस्पताल स्थापित किया और समाज सुधार के कार्यों में भी योगदान दिया। स्वास्थ्य खराब होने के कारण 1936 में स्विट्ज़रलैंड में उनका निधन हो गया। उनका जीवन साहस, बलिदान और राष्ट्र सेवा का प्रतीक है।

Kamala Nehru

कमला नेहरू (Kamala Nehru) का संक्षिप्त परिचय
पूरा नाम कमला कौल नेहरू (Kamala Kaul Nehru)
जन्म तिथि 1 अगस्त 1899
जन्म स्थान दिल्ली, ब्रिटिश भारत
माता-पिता पिता: जवाहरमल कौल,
माता: राजपति कौल
पति पंडित जवाहरलाल नेहरू
संतान इंदिरा गांधी
राष्ट्रीयता भारतीय
भूमिका स्वतंत्रता सेनानी, समाजसेविका
योगदान 1921 के असहयोग आंदोलन में सक्रिय भागीदारी।
विदेशी वस्त्रों और शराब की दुकानों के खिलाफ विरोध प्रदर्शन।
महिलाओं को स्वतंत्रता संग्राम में प्रेरित किया।
इलाहाबाद में स्वराज भवन में एक अस्पताल की स्थापना।
स्वास्थ्य समस्या तपेदिक (टीबी)
मृत्यु 28 फरवरी 1936, बूसान, स्विट्ज़रलैंड
स्मृति में सम्मान दिल्ली विश्वविद्यालय में कमला नेहरू कॉलेज,
मुंबई में कमला नेहरू पार्क

कमला नेहरू का जीवन परिचय

कमला नेहरू भारतीय स्वतंत्रता संग्राम की एक महत्वपूर्ण महिला थीं। वे न केवल स्वतंत्रता संग्राम में सक्रिय रहीं, बल्कि उन्होंने भारतीय समाज में महिलाओं को प्रेरित करने का भी कार्य किया। वे भारत के प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू की पत्नी थीं और उनके जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा रहीं। उनका जीवन संघर्ष, साहस और त्याग का प्रतीक था।

जन्म और परिवारिक पृष्ठभूमि

कमला नेहरू का जन्म 1 अगस्त 1899 को दिल्ली के एक पारंपरिक कश्मीरी ब्राह्मण परिवार में हुआ था। उनके पिता का नाम जवाहरमल कौल और माता का नाम राजपति कौल था। उनका परिवार परंपरागत मूल्यों से जुड़ा हुआ था, लेकिन उन्होंने आधुनिक सोच को भी अपनाया। कमला नेहरू का पालन-पोषण एक संपन्न और शिक्षित परिवार में हुआ।

शिक्षा और विवाह

कमला नेहरू की प्रारंभिक शिक्षा घर पर ही हुई। उस समय समाज में महिलाओं की शिक्षा को अधिक महत्व नहीं दिया जाता था, इसलिए उन्होंने औपचारिक शिक्षा कम प्राप्त की। 1916 में मात्र 16 वर्ष की उम्र में उनका विवाह पंडित जवाहरलाल नेहरू से हुआ। विवाह के बाद वे इलाहाबाद स्थित आनंद भवन में रहने लगीं। कमला नेहरू का जीवन पारंपरिक घरेलू दायित्वों तक सीमित नहीं रहा, बल्कि उन्होंने अपने पति के साथ कंधे से कंधा मिलाकर स्वतंत्रता संग्राम में भाग लिया।

Kamala Nehru and Jawaharlal Nehru

स्वतंत्रता संग्राम में भूमिका

कमला नेहरू स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान बेहद सक्रिय रहीं। 1921 में जब गांधीजी ने असहयोग आंदोलन शुरू किया, तो उन्होंने उसमें बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। उन्होंने महिलाओं को संगठित किया और विदेशी वस्त्रों तथा शराब की दुकानों के खिलाफ प्रदर्शन किए। वे भारतीय महिलाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बनीं।

असहयोग आंदोलन में योगदान

  • 1921 में उन्होंने महिलाओं के समूहों का नेतृत्व किया और विदेशी वस्त्रों की होली जलाई।
  • वे इलाहाबाद में महिलाओं की रैलियों का नेतृत्व करने लगीं।
  • स्वतंत्रता संग्राम के दौरान कई बार उन्हें पुलिस के अत्याचारों का सामना करना पड़ा।
  • उन्होंने गांधीजी के विचारों का समर्थन किया और सत्याग्रह आंदोलनों में बढ़-चढ़कर भाग लिया।

सविनय अवज्ञा आंदोलन में योगदान

1930 में जब महात्मा गांधी ने नमक सत्याग्रह शुरू किया, तो कमला नेहरू ने भी इसमें सक्रिय भूमिका निभाई। उन्होंने महिलाओं को संगठित कर सत्याग्रह में भाग लेने के लिए प्रेरित किया। जब पंडित नेहरू को गिरफ्तार किया गया, तो उन्होंने स्वयं महिलाओं का नेतृत्व किया और स्वतंत्रता संग्राम को गति दी।

समाज सुधार में योगदान

कमला नेहरू ने केवल स्वतंत्रता संग्राम में ही नहीं, बल्कि समाज सुधार के क्षेत्र में भी महत्वपूर्ण कार्य किए। उन्होंने भारतीय महिलाओं को शिक्षा के लिए प्रेरित किया और महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा दिया। वे महिलाओं को स्वावलंबी बनाने के लिए निरंतर कार्य करती रहीं।

स्वराज भवन में अस्पताल की स्थापना

स्वतंत्रता संग्राम के दौरान उन्होंने इलाहाबाद स्थित स्वराज भवन में एक अस्पताल की स्थापना की, जहाँ स्वतंत्रता सेनानियों और उनके परिवारों का इलाज किया जाता था। यह अस्पताल न केवल चिकित्सा सेवा का केंद्र बना, बल्कि समाज सेवा का भी प्रतीक बन गया।

स्वास्थ्य और विदेश यात्रा

लगातार संघर्ष और जेल यात्राओं के कारण कमला नेहरू का स्वास्थ्य प्रभावित होने लगा। उन्हें तपेदिक (टीबी) जैसी गंभीर बीमारी हो गई। उस समय भारत में इस बीमारी का समुचित इलाज उपलब्ध नहीं था, इसलिए उन्हें 1935 में इलाज के लिए स्विट्ज़रलैंड भेजा गया।

मृत्यु

28 फरवरी 1936 को स्विट्ज़रलैंड के लुसाने शहर में कमला नेहरू का निधन हो गया। उनके निधन से भारतीय स्वतंत्रता संग्राम को गहरा आघात लगा। पंडित नेहरू, जो उस समय स्वतंत्रता संग्राम में व्यस्त थे, अपनी पत्नी को अंतिम क्षणों में नहीं देख सके। उनकी मृत्यु के बाद, महात्मा गांधी ने उनके योगदान को याद करते हुए कहा कि वे एक “निस्वार्थ और दृढ़ संकल्पित महिला” थीं।

कमला नेहरू की विरासत

कमला नेहरू के योगदान को सम्मानित करने के लिए भारत में कई संस्थानों और स्थानों का नाम उनके नाम पर रखा गया है।

कमला नेहरू की स्मृति में स्थापित संस्थाएँ

  • कमला नेहरू कॉलेज (दिल्ली विश्वविद्यालय) – महिलाओं की उच्च शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए।
  • कमला नेहरू अस्पताल (इलाहाबाद) – चिकित्सा सेवाओं के लिए।
  • कमला नेहरू पार्क (मुंबई और अन्य शहरों में) – उनकी स्मृति में सार्वजनिक उद्यान।
  • कमला नेहरू महिला संगठन – महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए।

कमला नेहरू स्मृति दिवस

कमला नेहरू स्मृति दिवस हर वर्ष 28 फरवरी को मनाया जाता है, जो उनके निधन (1936) की तिथि है। कमला नेहरू स्वतंत्रता संग्राम की एक निडर सेनानी थीं, जिन्होंने असहयोग आंदोलन और सविनय अवज्ञा आंदोलन में सक्रिय भाग लिया। उन्होंने भारतीय महिलाओं को स्वतंत्रता संग्राम से जोड़ने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। तपेदिक से पीड़ित होने के बावजूद, वे संघर्षरत रहीं और राष्ट्र के लिए अपना जीवन समर्पित किया। उनके योगदान को याद करते हुए, इस दिन महिला सशक्तिकरण, समाजसेवा और स्वतंत्रता संग्राम में महिलाओं की भूमिका को सम्मानित किया जाता है। उनकी स्मृति आज भी प्रेरणादायक बनी हुई है।

जवाहरलाल नेहरू और एडविना माउंटबेटन की प्रेम कहानी: एक अफवाह

सोशल मीडिया पर प्रसारित दावा, जब कमला नेहरू तपेदिक (टीबी) से पीड़ित थीं, तब जवाहरलाल नेहरू उनकी देखभाल करने के बजाय एडविना माउंटबेटन के साथ प्रेम संबंध में व्यस्त थे। क्या यह सच है?

Edwina Mountbatten and Jawaharlal Nehru

जिस समय कमला नेहरू की तबीयत खराब होने पर, उनकी देखभाल के लिए इलाहाबाद के स्वराज भवन में एक डिस्पेंसरी स्थापित की गई थी। उस समय, नेहरू विभिन्न जेलों में बंद थे। अपनी आत्मकथा में, नेहरू ने उल्लेख किया है कि अगस्त 1934 में उन्हें देहरादून जेल से 11 दिनों के लिए रिहा किया गया ताकि वे अपनी बीमार पत्नी से मिल सकें। इसके बाद, उन्हें नैनी जेल और फिर अल्मोड़ा जिला जेल में स्थानांतरित किया गया, जिससे वे भुवाली में उपचाराधीन कमला नेहरू से मिल सकें।

कमला नेहरू के स्वास्थ्य में सुधार न होने पर, उन्हें उपचार के लिए यूरोप भेजा गया। नेहरू ने अपनी आत्मकथा में लिखा है कि सितंबर 1935 में कमला नेहरू यूरोप गईं, और 4 सितंबर को नेहरू को अल्मोड़ा जेल से रिहा किया गया ताकि वे अपनी पत्नी के पास जा सकें। नेहरू तुरंत हवाई जहाज से यूरोप रवाना हुए और कमला नेहरू के साथ रहे। 28 फरवरी 1936 को स्विट्ज़रलैंड के लोज़ान शहर में कमला नेहरू का निधन हुआ, और नेहरू उस समय उनके साथ थे।

एडविना माउंटबेटन और नेहरू की मुलाकात 1947 में हुई थी, जब एडविना अपने पति लॉर्ड माउंटबेटन के साथ भारत आई थीं। इस प्रकार, कमला नेहरू की बीमारी और निधन के समय नेहरू और एडविना के बीच किसी भी प्रकार के संबंध का दावा तथ्यात्मक रूप से गलत है।

इसलिए, यह निष्कर्ष निकाला गया कि सोशल मीडिया पर प्रसारित उक्त दावा निराधार और भ्रामक है।

निष्कर्ष

कमला नेहरू का जीवन संघर्ष, त्याग और राष्ट्रभक्ति का प्रतीक है। वे केवल पंडित जवाहरलाल नेहरू की पत्नी के रूप में नहीं जानी जातीं, बल्कि एक सशक्त महिला और समाज सुधारक के रूप में भी उनका योगदान अविस्मरणीय है। उन्होंने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में न केवल सक्रिय भागीदारी की, बल्कि समाज सुधार और महिलाओं के उत्थान के लिए भी जीवनभर कार्य किया। उनकी प्रेरणादायक गाथा आज भी भारतीय महिलाओं के लिए एक मिसाल बनी हुई है।

FAQs on कमला नेहरू – कमला

1.

कमला नेहरू कौन थीं और उनका स्वतंत्रता संग्राम में क्या योगदान था?

कमला नेहरू भारत के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू की पत्नी थीं और एक स्वतंत्रता सेनानी थीं। उन्होंने असहयोग आंदोलन (1921) और सविनय अवज्ञा आंदोलन (1930) में सक्रिय भूमिका निभाई। उन्होंने विदेशी वस्त्रों की होली जलाने और महिलाओं को स्वतंत्रता संग्राम से जोड़ने का कार्य किया।

2.

कमला नेहरू की मृत्यु कब और कैसे हुई?

कमला नेहरू को तपेदिक (टीबी) की गंभीर बीमारी हो गई थी। इलाज के लिए उन्हें 1935 में स्विट्जरलैंड ले जाया गया, लेकिन 28 फरवरी 1936 को बूसान शहर में उनका निधन हो गया।

3.

जवाहरलाल नेहरू और कमला नेहरू के संबंध कैसे थे?

कमला नेहरू और जवाहरलाल नेहरू का विवाह 1916 में हुआ था। कमला नेहरू सरल और परंपरागत थीं, जबकि नेहरू आधुनिक सोच वाले थे। हालांकि, स्वतंत्रता संग्राम के दौरान वे दोनों राष्ट्र के लिए समर्पित रहे, और कमला नेहरू ने हमेशा नेहरू का समर्थन किया।

4.

कमला नेहरू की स्मृति में कौन-कौन से संस्थान स्थापित किए गए हैं?

कमला नेहरू की स्मृति में कई संस्थान स्थापित किए गए, जिनमें प्रमुख हैं:

  • कमला नेहरू कॉलेज (दिल्ली विश्वविद्यालय)
  • कमला नेहरू अस्पताल (इलाहाबाद)
  • कमला नेहरू पार्क (मुंबई और अन्य शहरों में)
  • कमला नेहरू महिला संगठन

5.

कमला नेहरू का जीवन महिलाओं के लिए कैसे प्रेरणादायक है?

कमला नेहरू ने सामाजिक बंधनों को तोड़कर स्वतंत्रता संग्राम में भाग लिया और महिलाओं को संगठित किया। उन्होंने अपने संघर्ष और साहस से दिखाया कि महिलाएँ भी देश की आज़ादी और समाज सुधार में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती हैं। उनका जीवन नारी सशक्तिकरण का प्रतीक है।

6.

कमला नेहरू जयंती कब एवं क्यों मनाई जाती है?

कमला नेहरू जयंती हर साल 1 अगस्त को मनाई जाती है, जो उनके जन्म वर्ष 1899 की तिथि है। वे भारत के स्वतंत्रता संग्राम में एक निडर सेनानी थीं और महात्मा गांधी के नेतृत्व में असहयोग आंदोलन में सक्रिय भूमिका निभाई। उन्होंने भारतीय महिलाओं को स्वतंत्रता संग्राम से जोड़ने का महत्वपूर्ण कार्य किया। कमला नेहरू का जीवन त्याग, साहस और नारी सशक्तिकरण का प्रतीक है। इस दिन उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की जाती है और उनके योगदान को याद किया जाता है। उनके सम्मान में कई संस्थान, कॉलेज और अस्पताल स्थापित किए गए हैं।

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